Gyaani Engineer

मैं रुकूंगा नहीं

लूंगा जब तलक साँस चले,
हर दर्द में इक राग पले।
रास्ता टेढ़ा, धूप कड़ी,
पर छाँव नहीं मैं माँगूंगा—
मैं रुकूंगा नहीं।

हर मोड़ पर काँटे होंगे,
हर शब्द में ताने होंगे,
लोग हँसेंगे, रोकेंगे,
पर चुप मैं फिर भी ना रहूंगा—
मैं झुकूंगा नहीं।

गिरा तो फिर उठ जाऊंगा,
अधूरे ख़्वाब सजाऊंगा।
जो कहें \"तू कुछ कर न सका\",
उन सबको सच मैं दिखलाऊंगा—
मैं थकूंगा नहीं।

कभी कदम डगमगाएंगे,
पर पथ से ना हट पाएंगे।
जो बात दिल से ठान लिया,
वो पूरा करके जाऊंगा—
मैं रुकूंगा नहीं।

      —Sanoj Das