Published poems by uglykavi
- खुद की कैद
Oct 8th 2024 (21:38) - लोकतंत्र बिमार है
Mar 24th 2024 (20:05) - Joy of Death
Jan 28th 2024 (00:28) - मौत का सुख
Jan 27th 2024 (01:09) - चुनावी खेल
Jan 13th 2024 (03:29) - Welcome to a Fair and Just Year 2024
Jan 1st 2024 (01:10) - लूटतंत्र वायरस
Nov 21st 2023 (01:17) - इंसाफ की चुनौती
Nov 13th 2023 (23:41) - विकट समस्या समाज की
Nov 5th 2023 (23:56) - कल्पतंत्र
Aug 28th 2023 (20:29) - प्रकृति का संतुलन ना बिगड़ने पाए
Mar 9th 2023 (22:21) - मेरी प्यारी बिटिया
Mar 6th 2023 (22:55) - भाषा की आज़ादी
Mar 5th 2023 (21:51) - जनतंत्र की अमूल्य वस्तु
Jan 4th 2023 (21:51) - जवानी का इंतकाल
Dec 6th 2022 (01:08) - नए साल पर ज्यादा न सोचें
Oct 11th 2022 (19:19) - यमुना की हत्या
Oct 7th 2022 (23:15) - जानेवाले की व्यथा
Sep 29th 2022 (21:06) - नारी, धर्म व अधिकार
Sep 22nd 2022 (08:58) - लोकतंत्र की पराजय
May 27th 2022 (00:01) - हवा बदलाव की
Feb 19th 2022 (04:57)